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शंखचूर्ण कालसर्प दोष: जानिए दोष से मुक्ति के उपाय

क्या आपको ऐसा लगता है की आपके जीवन मे हर बार मेहनत करने के बाद भी सफलता नहीं मिलती है। मन मे बैचेनी और अशांति बनी रहती है। इसका कारण शंखचूर्ण कालसर्प दोष हो सकता है। यह दोष राहु और केतु के कारण बनता है, और जीवन मे आने वाली कई प्रकार की समस्याओ का कारण बनता है। आज इस लेख के माध्यम से जानेंगे की शंखचूर्ण कालसर्प दोष क्या है? और इसे किस प्रकार दूर किया जा सकता है?

शंखचूर्ण कालसर्प दोष क्या है?

शंखचूर्ण कालसर्प दोष ज्योतिष में विशेष और जटिल दोष माना जाता है। यह दोष तब बनता है जब जन्म कुंडली में सभी ग्रह राहु और केतु के बीच आ जाते हैं। और विशेष रूप से चंद्रमा और राहु-केतु का प्रभाव बढ़ जाता है। शंखचूर्ण कालसर्प दोष का नकारात्मक प्रभाव व्यक्ति के स्वास्थ्य और मानसिक शांति पर पड़ता है।

शंखचूर्ण कालसर्प दोष का नाम “शंखचूर्ण” इसलिए है क्योंकि यह शंख और चूर्ण जैसे मिश्रण का प्रतीक है, जो जीवन में कई उतार-चढ़ाव लाता है। इस दोष से प्रभावित व्यक्ति अक्सर मानसिक तनाव, अस्थिरता और अनिर्णय का शिकार हो सकता है। यह दोष परिवारिक और आर्थिक मामलों में भी रुकावटें पैदा कर सकता है।

शंखचूर्ण कालसर्प दोष के लक्षण

हिन्दू धर्म मे शंखचूर्ण कालसर्प दोष का प्रभाव व्यक्ति के मानसिक, शारीरिक और आर्थिक जीवन पर गंभीर रूप से पड़ता है। यदि आपकी कुंडली में यह दोष है, तो निम्नलिखित लक्षण देखने को मिल सकते हैं :-

  • शंखचूर्ण कालसर्प दोष के प्रभाव से व्यक्ति को अपने जीवन में हर छोटे-बड़े कार्य में बाधाओं का सामना करना पड़ता है।
  • इस दोष के कारण विवाह में देरी या वैवाहिक जीवन में समस्याएँ उत्पन्न हो सकती है।
  • व्यक्ति के अंदर मानसिक शांति का अभाव और आत्मविश्वास की कमी का मुख्य कारण भी शंखचूर्ण कालसर्प दोष माना जाता है।
  • आर्थिक अस्थिरता, धन का रुकावट या हानि होना, व्यवसाय मे नुकसान होना इत्यादि समस्याएँ इस दोष के प्रभाव देखने को मिलती है।
  • अक्सर अनजान कारणों से उदासी और निराशा का कारण भी शंख चूर्ण कालसर्प दोष हो सकता है।
  • गिरने या फँसने का सपना बार-बार आना, सपनों में पानी, कीचड़, या जंगल देखना आदि इस दोष के नकारात्मक प्रभाव के कारण होता है।
  • महत्वपूर्ण कार्यों में बार-बार विफलता, प्रयास करने के बावजूद सफलता नही मिलना।

शंखचूर्ण कालसर्प दोष के उपाय

शंखचूर्ण कालसर्प दोष का प्रभाव कम करने और जीवन में शांति लाने के लिए धार्मिक और ज्योतिषीय उपाय अत्यंत प्रभावी माने जाते हैं। इन उपायों के माध्यम से व्यक्ति मानसिक, आर्थिक और शारीरिक समस्याओं से छुटकारा पा सकता है। ये उपाय निम्नलिखित है :-

  • प्रतिदिन महामृत्युंजय मंत्र का 108 बार जाप करें :- “ॐ त्र्यम्बकं यजामहे सुगन्धिं पुष्टिवर्धनम्।
    उर्वारुकमिव बन्धनान्मृत्योर्मुक्षीय मामृतात्।।”
  • राहु और केतु की शांति के लिए कुंडली के अनुसार पूजा-अनुष्ठान करें और मंत्र जाप करें :- राहु बीज मंत्र: “ॐ भ्रां भ्रीं भ्रौं सः राहवे नमः”। केतु बीज मंत्र: “ॐ स्रां स्रीं स्रौं सः केतवे नमः” का जाप करें।
  • नाग पंचमी के दिन नाग देवता की पूजा करें, नाग देवता की मूर्ति पर दूध, फूल, काले तिल चढ़ाएं और “ॐ नागेंद्राय नमः” मंत्र का जाप करें।
  • राहु के लिए गोमेद रत्न और केतु के लिए लहसुनिया धारण करें।
  • मंगलवार और शनिवार को हनुमान चालीसा का पाठ करें और हनुमान मंदिर में लाल सिंदूर और चमेली का तेल अर्पित करें।
  • शनिवार को सरसों का तेल और उड़द दाल का दान करना चाहिए।
  • भगवान शिव का नियमित अभिषेक करना अत्यंत शुभ माना जाता है। श्रावण मास में यह उपाय विशेष रूप से प्रभावी होता है।

शंखचूर्ण कालसर्प दोष निवारण पूजा

शंखचूर्ण कालसर्प दोष निवारण पूजा ज्योतिष शास्त्र में विशेष महत्व रखती है। यह पूजा उन लोगों के लिए अत्यधिक प्रभावी मानी जाती है जिनकी कुंडली में शंखचूर्ण कालसर्प दोष का प्रभाव देखा जाता है। इस पूजा में विशेष मंत्रों, हवन, और पूजा विधियों का पालन किया जाता है, जो व्यक्ति के जीवन में आने वाली बाधाओं और कष्टों को दूर करने तथा सुख, शांति और समृद्धि लाने में सहायक होती है।

यह पूजा त्र्यंबकेश्वर, उज्जैन, काशी, और अन्य पवित्र स्थलों पर विशेष रूप से प्रभावी मानी जाती है। इन स्थानों पर अनुभवी और ज्ञानी पंडितों की देखरेख में पूजा कराने से दोष का प्रभाव शीघ्र शांत होता है। शंखचूर्ण कालसर्प दोष से पीड़ित व्यक्ति को यह पूजा विधिपूर्वक और श्रद्धा के साथ करना चाहिए। इससे जीवन में सुख-शांति और सफलता प्राप्त होती है।

शंखचूर्ण कालसर्प दोष निवारण पूजा का महत्व

  • शंखचूर्ण कालसर्प दोष पूजा राहु और केतु के दुष्प्रभाव को शांत करती है।
  • इस पूजा से व्यक्ति को मानसिक शांति, स्वास्थ्य, और आर्थिक स्थिरता प्राप्त होती है।
  • पारिवारिक कलह समाप्त होते हैं और रिश्तों में मधुरता आती है।
  • पूजा के बाद जीवन में सकारात्मक ऊर्जा और सौभाग्य का संचार देखने को मिलता है।

शंखचूर्ण कालसर्प दोष पूजा कैसे बुक करें ?

शंखचूर्ण कालसर्प दोष के नकारात्मक प्रभाव से मुक्ति पाने के लिए उज्जैन के अनुभवी एवं श्रेष्ठ पंडित सुरेश शर्मा जी से संपर्क करें। पंडित जी को दोष निवारण पूजाओ के बारें मे अत्यधिक जानकारी और अनुभव प्राप्त है। वर्ष भर श्रद्धालु पंडित जी के पास दोष निवारण पूजा करवा कर अपनी परेशानियों से छुटकारा पाते है।  

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