घातक कालसर्प दोष

घातक कालसर्प दोष: जाने प्रभाव और दूर करने के उपाय

घातक कालसर्प दोष ज्योतिष शास्त्र में अत्यंत गंभीर दोष माना जाता है, जो व्यक्ति की कुंडली में तब उत्पन्न होता है जब सभी ग्रह राहु और केतु के बीच में आ जाते हैं और राहु आठवें भाव में तथा केतु दूसरे भाव में स्थित होता है। इस दोष के कारण व्यक्ति को शारीरिक, मानसिक, और आर्थिक समस्याओं का सामना करना पड़ता है। यह दोष जीवन में गंभीर बाधाओं और दुर्घटनाओं का कारण बन सकता है।

ज्योतिष शास्त्र मे घातक कालसर्प दोष का प्रभाव जीवन में अनेक बाधाएं और परेशानियां ला सकता है। इस दोष को शांत करने के लिए नियमित पूजा, मंत्र जाप, और ज्योतिषीय उपाय करना आवश्यक है। शुभ मुहूर्त में विधिवत रूप से पूजा करवाकर आप अपने जीवन को सुख, शांति, और समृद्धि से भर सकते हैं।

घातक कालसर्प दोष के प्रभाव

घातक कालसर्प दोष एक गंभीर ज्योतिषीय दोष है, जो व्यक्ति के जीवन में अनेक प्रकार की समस्याओं और बाधाओं का कारण बनता है। इस दोष का प्रभाव शारीरिक, मानसिक, आर्थिक और सामाजिक जीवन पर पड़ता है। इसके ओर भी हानिकारक प्रभाव है जो की नीचे दिये गए है :-

  • इस दोष के कारण व्यक्ति को अचानक स्वास्थ्य संबन्धित समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है, तथा बार-बार दुर्घटनाएं होना और शारीरिक कमजोरी बनी रहती है।
  • इस दोष के प्रभाव से व्यक्ति हमेशा मानसिक दबाव और भय में रहता है। यह दोष आत्मसम्मान और आत्मविश्वास को कमजोर करता है।
  • घातक दोष के कारण व्यक्ति हमेशा नकारात्मक विचारों से घिरा रहता है, जिससे उसकी निर्णय लेने की क्षमता प्रभावित होती
  • इस दोष का नकारात्मक प्रभाव व्यक्ति के जीवन में उसकी आर्थिक स्थिति को कमजोर करता है जिसके कारण वह कर्ज के भय का अनुभव करता है।
  • यह दोष पारिवारिक कलह और वैवाहिक जीवन में समस्याओं का कारण बनता है। जिसके कारण व्यक्ति के रिश्तों मे खटास ओर मनमुटाव देखने को मिलता है।
  • इस दोष के कारण व्यक्ति को समाज में सम्मान की हानि का सामना करना पड़ सकता है, जिसके चलते व्यक्ति का आत्मविश्वास कमजोर पड़ने लगता है।
  • घातक दोष के चलते राहु और केतु की स्थिति के कारण नकारात्मक ऊर्जा व्यक्ति के जीवन को प्रभावित करती है।

घातक कालसर्प दोष के उपाय

घातक कालसर्प दोष के प्रभाव से व्यक्ति के जीवन में गंभीर समस्याएं और बाधाएं उत्पन्न होती है। इन समस्याओं से छुटकारा पाने के लिए ज्योतिषीय उपाय, धार्मिक अनुष्ठान, और नियमित पूजा आवश्यक है। यहां इस दोष को शांत करने के प्रभावी और लाभदायक उपाय दिए गए हैं जो की निम्न है :-

  • भगवान शिव को कालसर्प दोष शांति का अधिष्ठाता माना जाता है। उनकी पूजा आराधना करना इस दोष को कम करने में सहायक होती है। प्रीतिदिन शिवलिंग पर गंगाजल, कच्चा दूध, शहद, दही और शुद्ध जल से अभिषेक करें।
  • महामृत्युंजय मंत्र का नियमित रूप से 108 बार जाप करें:
    “ॐ त्र्यम्बकं यजामहे सुगन्धिं पुष्टिवर्धनम्।
    उर्वारुकमिव बन्धनान्मृत्योर्मुक्षीय मामृतात्॥
  • राहु और केतु के अशुभ प्रभावों को दूर करने तथा शांति के लिए विशेष अनुष्ठान करना चाहिए। उज्जैन जैसे पवित्र स्थानों पर राहु-केतु शांति पूजा करना लाभकारी होता है।
  • नाग देवता की पूजा घातक कालसर्प दोष को शांत करने का बहुत प्रभावी उपाय है। नाग पंचमी के दिन नाग देवता का पूजन करें तथा नाग देव की मूर्ति पर दूध, हल्दी, चंदन, और फूल चढ़ाएं।
  • दान करना, दोष निवारण का एक प्रभावी उपाय है। काले तिल, लोहे के बर्तन, नीले वस्त्र, और सरसों का तेल दान करना इस दोष के निवारण के लिए लाभकारी होगा।
  • ज्योतिषी की सलाह से गोमेद (हेसोनाइट) रत्न धारण करें। यह रत्न राहु के नकारात्मक प्रभाव को शांत करता है।
  • रोजाना तुलसी के पौधे में जल चढ़ाएं और दीपक जलाएं तथा “ॐ नमो भगवते वासुदेवाय” मंत्र का जाप करें।

घातक कालसर्प दोष निवारण पूजा

हिन्दू ज्योतिष में घातक कालसर्प दोष निवारण पूजा एक विशेष ज्योतिषीय अनुष्ठान है, जो इस दोष के अशुभ प्रभावों को शांत करने और जीवन में सुख-शांति लाने के लिए प्रभावी मनी जाती है। यह पूजा मुख्य रूप से भगवान शिव, नाग देवता, और राहु-केतु के प्रति समर्पित होती है। त्र्यंबकेश्वर, उज्जैन, और काशी जैसे पवित्र स्थानों पर इस पूजा का विशेष महत्व है। इस पूजा के द्वारा राहु और केतु के नकारात्मक प्रभावों को कम किया जाता है।

घातक कालसर्प दोष निवारण पूजा के द्वारा व्यक्ति के जीवन में आने वाली बाधाओं, जैसे स्वास्थ्य समस्याएं, आर्थिक हानि, पारिवारिक कलह, और मानसिक तनाव को दूर किया जाता है। यह पूजा आध्यात्मिक उन्नति और सकारात्मक ऊर्जा को बढ़ावा देती है। घातक कालसर्प दोष निवारण पूजा के माध्यम से जीवन में शांति, सफलता, और समृद्धि प्राप्त की जाती है।

घातक कालसर्प दोष पूजा कैसे कराएं ?

यह पूजा विशेष रूप से उज्जैन मे करना अत्यंत लाभकारी मनी जाती है। उज्जैन भगवान शिव की नगरी के नाम से प्रसिद्ध है यहाँ पूजा करने से उसका फल शीघ्र मिलता है। पूजा बुक करने के लिए वहाँ के अनुभवी पंडित जी से उज्जैन जाकर संपर्क करें या उनकी वैबसाइट के माध्यम से संपर्क कर सकते है।

पंडित सुरेश शर्मा जी को विभिन्न दोष निवारण पूजाओं का 15 वर्षों से अधिक अनुभव प्राप्त है। पंडित से नीचे दिये गए नंबर के माध्यम से संपर्क करे और अपनी पूजा बुक करें :-

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